मध्यप्रदेश इलेक्ट्रिसिटी बोर्ड के ठेकेदार कई दिनों से बैठे आमरण अनशन में जिसके चलते उन्होंने उच्च अधिकारियों का किया पुतला दहन....

मध्यप्रदेश इलेक्ट्रिसिटी बोर्ड के ठेकेदार कई दिनों से बैठे आमरण अनशन में जिसके चलते उन्होंने उच्च अधिकारियों का किया पुतला दहन....

जबलपुर:-पुतला दहन मनाई तेरहवीं एवं किया कुत्ता भोज का आयोजन हमारे संवाददाता द्वारा प्राप्त जानकारी पर जनार्दन प्रताप सिंह दुबे अध्यक्ष मध्य भारत विद्युत ठेकेदार संगठन जबलपुर ने बताया कि मध्य भारत विद्युत ठेकेदार संगठन एवं कई अन्य विद्युत ठेकेदार संगठन के बैनर तले विगत 13 दिनों से सौभाग्य योजना के भुगतान हेतु एवं सौभाग्य योजना के अंतर्गत किए गए कार्यों के मापन हेतु लगातार आमरण अनशन जारी है।संगठन का आरोप है कि विगत 13 दिनों से हम से धरना स्थल पर मिलने कोई भी अधिकारी या कर्मचारी नहीं आया है हमारे द्वारा किए गए कई सैकड़ों पत्राचार का अभी तक जवाब भी नहीं दिया गया है जिस कारण हम लोगों की स्थिति काफी दयनीय हो गई है।मध्यप्रदेश पूर्व क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी ने अनेक आरटीआई का जवाब देने में भी काफी आनाकानी की एवं उनका भी जवाब नहीं दिया है।इसी प्रकार केंद्र सरकार द्वारा जो एमएसएमई के लिए योजनाएं लागू की गई थी उनका भी उचित तरीके से पालन इनके द्वारा नहीं किया जा रहा है बल्कि छोटे-छोटे ठेकेदारों से ₹118000 जमा करवा कर उन्हें परेशान किया जा रहा है।प्रतिदिन जबलपुर एवं भोपाल के कई पेपरों में यह घटनाएं प्रकाशित भी हो रही है जो उन तक पहुंच रही हैं परंतु उन्होंने अपने आंख नाक-कान को बंद करके रखा हुआ है।ठेकेदारों ने पुतला दहन करने के पश्चात अपने मित्र साथी कमलेश जायसवाल को भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित की एवं शोक सभा का आयोजन भी किया ठेकेदारों द्वारा बताया गया कि उनके 4 साथी अभी तक दिवंगत हो चुके हैं एवं करोना काल में अपनी दवाई न करवा पाने के कारण  सही तरीके से इलाज नहीं हो सका था।

मध्यप्रदेश पूर्व क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी के मुख्य द्वार पर पूर्व सीएमडी वी किरण गोपाल एवं पूर्व सीएफओ चेतन जायसवाल सहित वर्तमान  प्रबंध संचालक पी.के छतरी  मुख्य महाप्रबंधक मानव संसाधन कविता बाटला मुख्य महाप्रबंधक रूरल प्रोजेक्ट अशोक धुर्वे मुख्य महाप्रबंधक वर्क्स वीके जैन का पुतला दहन किया उन्होंने यह कहा इन्हीं लोगों के कारण भुगतान की प्रक्रिया लेट लतीफ हुई है।

ठेकेदार संगठन ने आरोप लगाते हुए कहा कि बिना किसी आदेश के विगत 3 वर्षों से भुगतान एवं मापन कार्य को रोक कर रखा गया है।किसी भी अधिकारी या कर्मचारी ने कोई भी इस प्रकार का आदेश नहीं दिया गया था कि भुगतान एवं मापन कार्य को रोका जाए परंतु कई अधिकारी  ने अपने स्वार्थ वास कमीशन खोरी के चक्कर में इस पर अनिश्चितकाल के लिए रोक लगा कर रखी हुई थी।ठेकेदारों द्वारा बताया गया है कि कंपनी के अधिकारी उनसे 15%कमीशन की मांग कर रहे हैं इसी कारण भुगतान को रोक कर रखा गया है।ठेकेदारों ने कहा हम किसी प्रकार का कोई भी कमीशन नहीं देंगे।ठेकेदारों ने आरोप लगाते हुए कहा कि जब से हमने आमरण अनशन चालू किया है मुख्य महाप्रबंधक मानव संसाधन कविता बाटला छुट्टी पर चली गई है वही कल से अशोक ध्रुवे भी छुट्टी पर चले गए हैं,महाप्रबंधक कविता बाटला अशोक  ध्रुवे एवं पीके छतरी का पुतला दहन किया गया।कार्य करवाने के पश्चात भुगतान करना एक अति सामान्य प्रक्रिया थी परंतु बिना किसी आदेश के मनमानी तरीके से कई अधिकारियों ने इस पर रोक लगा रखी है एवं फाइलों को आगे नहीं बढ़ा रहे हैं।बिना किसी का भुगतान किए सौभाग्य योजना के प्रोजेक्ट का क्लोजर सबमिट किया जा चुका है जिस पर यहां से लेकर भोपाल तक सभी अधिकारियों के हस्ताक्षर है एवं इसे आरईसी द्वारा माना भी जा चुका है एवं आरईसी ने मध्य प्रदेश पूर्व क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी को 200 करोड़ का भुगतान भी कर दिया है परंतु यह पैसा उनके खाते में पड़ा रहने के बावजूद भी अभी तक भुगतान की कार्यवाही को आगे नहीं बढ़ाया गया है।इस योजना में  मध्य प्रदेश पूर्व क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी को कुल प्रोजेक्ट का 20% राशि का स्वयं वहन करना था परंतु उस राशि को इस प्रकार एडजस्ट किया गया है कि उन्हें किसी भी प्रकार का कोई भुगतान ना करना पड़े।केंद्रीय महा लेखाकार कार्यालय को भी इसकी सूचना दी गई थी परंतु उन्होंने पैसा ले देकर कार्यों की जांच की थी एवं उसे सही सिद्ध कर दिया था।जब से कोरोना काल चालू हुआ है तब से यह अधिकारी विगत डेढ़ वर्षो से सप्ताह में 2 दिन की छुट्टी मनाते नजर आते हैं और अपने कार्यालय में उपस्थित नहीं रहते जिस कारण कार्य करने की रफ्तार पर विपरीत प्रभाव पड़ा है।ठेकेदार संगठन ने मांग की है कि शनिवार की छुट्टी शक्ति भवन की नृत्य की जाए एवं सभी कर्मचारी शनिवार को अपना कार्य करें।मध्य भारत विद्युत ठेकेदार संगठन द्वारा बताया गया कि 10 तारीख तक किसी भी प्रकार की कोई कार्यवाही ना होने पर या किसी भी अधिकारी के धरना स्थल पर ना आने पर हम 11 तारीख को भोपाल के वल्लभ भवन के लिए प्रस्थान करेंगे एवं 12 तारीख से भोपाल में वल्लभ भवन का घेराव करेंगे। यदि उस दौरान कोई भी घटना या दुर्घटना होती है तो उसकी पूर्ण जिम्मेवारी मध्यप्रदेश पूर्व क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी की ही होगी।

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