वारासिवनी में अभी तक कोविड सेंटर नही खोले जाने के चलते कलेक्टर पर जमकर बरसे विधायक प्रदीप जायसवाल कहा कलेक्टर से मिली निराशा।
कोरोना महामारी के इस दौर में पूरा बालाघाट जिला त्रस्त है,जिला प्रशासन इससे निपटने अपने स्तर पर पूरा प्रयास कर रहा है।किंतु वारासिवनी विधायक ने उनके विधानसभा क्षेत्र की जनता हेतु खोले जा रहे 50 बेड वाले कोविड केयर सेंटर को समय पर शुरू न करने तथा भेदभाव किये जाने के गम्भीर आरोप लगाते हुए कहा कि उन्हें कलेक्टर के व्यवहार से निराशा हुई है।
विधायक और मप्र खनिज निगम अध्यक्ष प्रदीप जायसवाल ने बताया कि वैनगंगा नदी बालाघाट जिले को दो हिस्सों में बांटती है,जिला प्रशासन का पूरा ध्यान नदी के उस तरफ पूरा ध्यान है।वारासिवनी-खैरलांजी,लालबर्रा और कटंगी की जनता के लिए वारासिवनी सिविल अस्पताल में कोविड केयर सेंटर बनाया गया है।जहां सभी के सहयोग से बनाये गए कोविड केयर फंड की राशि से ऑक्सीजन मशीन,पीपीई किट और अन्य सामान की व्यवस्था की गई है । जिसके चलते कई लोगों की जान बचाई गई।इसके अलावा हमारे द्वारा अम्बेडकर मंगल भवन में 50 बेड का कोविड सेंटर अलग से बनाया जा रहा है जहां जिला प्रशासन से एक रुपये की सहायता नहीं मिली।
अब कलेक्टर दीपक आर्य सहयोग तो छोड़ो यहां के डॉक्टर और स्टाफ को बालाघाट ले गए हैं,वहीं एसडीएम ने विधायक जायसवाल के आरोपों को स्वीकारते हुए कहा,कोविड केयर सेंटर की पूरी व्यवस्था कर ली गई है,डॉक्टर और पैरा मेडिकल स्टाफ मिलते ही इसे शुरू कर दिया जाएगा।